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Wednesday, February 2, 2022

भारत का भूगर्भिक संरचना (Indian Geological Structure) : Archean rocks, Dharwad Rocks, cuddapah rocks, Vindhya rocks, Deccan rocks

भारत का भूगर्भिक संरचना (Indian Geological Structure)

भारत का भूगर्भिक संरचना को जानने के लिए हम भारत के विभिन्न भूभाग को देखते हैं तो पता चलता है कि भारत में कहीं-कहीं पर पर्वत, चोटी, पठार और समतल भूमि है जो किसी ने किसी प्रकार के चट्टान से मिलकर बनी रहती हैं इसी चट्टान का निर्माण कब-कब हुआ है, और कितनी हैं, क्या उनके लक्षण है, यही भारत का भौगोलिक विकास है |

भारत का भूगर्भिक विकास समझने के लिए हम चट्टानों पर चर्चा करेंगे -

  • आर्कियन महाकल्प (प्री-कैम्ब्रियन) – आर्कियन क्रम की चट्टाने और धारवाड क्रम की चट्टाने
  • पुराण महाकल्प (प्रोटेरोजोइक) – कुडप्पा क्रम की चट्टाने और विन्ध्य क्रम की चट्टाने
  • द्रविडियन महाकल्प (कैम्ब्रियन) –
  • आर्य महाकल्प – गोंवाना क्रम की चट्टाने, दक्कन क्रम की चट्टाने और टर्शियरी क्रम क्रम की चट्टाने
भारत का भूगर्भिक संरचना (Indian Geological Structure)  Archean rocks, Dharwad Rocks, cuddapah rocks, Vindhya rocks, Deccan rocks
भारत का भूगर्भिक संरचना (Indian Geological Structure)  Archean rocks, Dharwad Rocks, cuddapah rocks, Vindhya rocks, Deccan rocks

भारत का भूगर्भिक विकास के क्रम में चट्टानों का क्रम कुछ इस प्रकार हैं-

  • आर्कियन क्रम की चट्टाने (Archean rocks) : यह सबसे पुरानी चट्टाने हैं, ग्रेनाइट, नीस और शिष्ट के रूप में पायी जाती हैं | इसमें जीवाश्म नही पाया जाता हैं |

  • धारवाड क्रम की चट्टाने (Dharwad Rocks) : कर्नाटक के - (शिमोगा, धारवाड़, बेलारी) मे पायी जाती हैं | खनिज - गोल्ड मैग्नीशियम | इसमें जीवाश्म नही पाया जाता हैं |

  • कुडप्पा क्रम की चट्टाने (cuddapah rocks): बलुआ पत्थर, क्वार्टर, चूने का पत्थर| इसमें जीवाश्म नही पाया जाता हैं |

  • विन्ध्य क्रम की चट्टाने ( Vindhya rocks): भवन निर्माण सामग्री के लिए, लाइमस्टोन

        👉गोलकुंडा की खदान- हीरा, मध्य प्रदेश- पन्ना

  • गोंवाना क्रम की चट्टाने : इन चट्टानों में कोयला 98% प्राप्त होता है, इस प्रकार के चट्टानों मे कोयला बिटुमिनस प्रकार का पाया जाता हैं|

        👉गोंडवाना क्रम की चट्टानों में कोयला निम्न स्थानों से प्राप्त होता है
    • तेलंगाना - सिंगरौली कोयला क्षेत्र से,
    • झारखंड - झरिया कोलफील्ड
    • उड़ीसा - तलचर कोलफील्ड
        👉दामोदर घाटी के अन्तर्गत निम्न क्षेत्र - रानीगंज (भारत में सबसे ज्यादा कोयला उत्पादन), धनबाद (झारखंड में सबसे ज्यादा उत्पादन), गिरिडीह कोक के लिए प्रसिद्ध है

  • दक्कन क्रम की चट्टाने : बेसाल्ट लावा के जमने से बना | महाराष्ट्र में 75 -80% पाया जाता है इसमें रेगुर मिट्टी पाई जाती हैं |

  • टर्शियरी क्रम क्रम की चट्टाने : यह सबसे नई चट्टाने हैं ।

Extra Fact

पृथ्वी की भूगर्भिक संरचना -

पैंथालासा (सागर) और पैंजिया (स्थल)

पैंजिया का विभाजन दो भागो मे हुआ – अंगारालैंड (लॉरेशिया) और गोंडवानालैंड

कोयला चार प्रकार का होता है -

  • एन्थ्रासाइट : यह सबसे अच्छा कोयला होता हैं |

  • बिटुमिनस : कोयला उच्चतम मान के कारण बनता है | यह वाणिज्यिक इस्तेमाल के लिए यह कोयला श्रेष्ठ माना जाता है |

  • लिग्नाइट : भूरा कोयला कहते हैं, तमिलनाडु में पाया जाता है | लिग्नाइट कोयला का उपयोग विद्युत उत्पादन में किया जाता है ।

  • पिट : यह सबसे बेकार कोयला होता हैं | इसमें कार्बन की मात्रा कम तथा नमी अधिक मात्रा में उपस्थित होती हैं |

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