उत्तर भारत का विशाल मैदान (Great Plains of North India)
- यह मैदान पश्चिम से सिंधु नदी से लेकर पूर्व में ब्रह्मपुत्र नदी तक फैला हुआ है । यह मैदान पूर्व से पश्चिम तक लगभग 3200 किलोमीटर लंबा तथा लगभग 150 से 300 किलोमीटर चौड़ा है |
- उत्तर भारत के विशाल मैदान का निर्माण सिंधु नदी गंगा ब्रह्मपुत्र नदी तथा उनकी सहायक नदियों द्वारा बहा कर लाए गए जलोढ़ निक्षेपण से हुआ है इसलिए इसे "गंगा-ब्रह्मपुत्र (ganga-brahmaputra)" का मैदान भी कहते हैं |
- यह मैदान समान्यता: समुद्र तल से 240 मीटर से अधिक ऊंचा नहीं है | इस क्षेत्र की उपजाऊ मिट्टी उपयुक्त जलवायु तथा पर्याप्त जलापूर्ति कृषि कार्य के विकास में बहुत सहायक है इसलिए यह सघन जनसंख्या वाला भौगोलिक प्रदेश हैं |
- यह नदियां निचले भागों में गाद एकत्र हो जाने के कारण बहुत सी धाराओं में बढ़ जाती हैं जिन्हें "वितरिकाएँ (Distributries)" कहा जाता है |
उत्तर भारत का विशाल मैदान को पढ़ने के लिए हम इस मैदान को दो वर्गों में विभाजित कर सकते हैं -
- उत्तरी मैदान को मुख्यतः तीन वर्गों में विभाजित किया गया है -
- पंजाब का मैदान (The Plain of Punjab) 👈Click Here
- गंगा का मैदान या मध्यवर्ती मैदान 👈Click Here
- ब्रह्मपुत्र का मैदान
- भौतिक आकृतियों की भिन्नता के आधार पर उत्तरी मैदान का विभाजन : भौतिक आकृतियों की भिन्नता के आधार पर उत्तरी मैदानों को चार भागों में विभाजित किया जा सकता है -
समुद्र तल
- समुद्र तल या औसत समुद्र तल (Mean sea level) समुद्र के जल के उपरी सतह की औसत ऊँचाई का मान होता है। इसकी गणना ज्वार-भाटे के कारण होने वाले समुद्री सतह के उतार चढ़ाव का लंबे समय तक प्रेक्षण करके उसका औसत निकाल कर की जाती है। इसे समुद्र तल से ऊँचाई (MSL-Metres above sea level) में व्यक्त किया जाता है।
- भारत में ऊँचाइयाँ मद्रास (चेन्नई) के समुद्र तट से मापी जातीं हैं |